Friday, June 11, 2010

"आ रहीं हैं हिचकियाँ कल शाम से...."



जाने क्या बात है...

रहीं हैं हिचकियाँ कल शाम से....

ताना दे रहें हैं लोग मुझे,

बुला कर तेरे नाम से...

धीरे -धीरे ना जाने कैसे,

जुड़ गया मेरा नाम तेरे नाम से....

ताना दे रहें हैं लोग मुझे,

बुला कर तेरे नाम से...

3 comments:

  1. :) :)

    बहुत खूब....पानी पी लीजिए

    ReplyDelete
  2. chaliye koi sanshy nahee raha....:)
    varna insaan sochta rahta hai kaun yad kar raha hai.........

    ReplyDelete
  3. मेरी खुशकिस्मती है कि कोई मुझे याद कर रहा है.....

    ReplyDelete